Holi Songs: राधा कृष्ण के 15 सबसे लोकप्रिय होली भजन

होली का त्यौहार हमारे देश का प्रसिद्ध त्यौहारों में से एक हैं। इस त्यौहार में गाये जाने वाले गीत को फाग गीत या होली गीत कहा जाता है। होली गीत में राधा कृष्ण का होली गीत बड़ी ही विख्यात है। आज के लेख में हम श्री राधा कृष्ण के कुछ लोकप्रिय होली गीतों का लिरिक्स जानेंगे।


1. राधा कृष्ण के होली गीत – बरसाने की होली

राधा कृष्ण ने मिलकर खेली,

बरसाने की होली,

राधा कृष्ण ने मिलकर खेली,

बरसाने की होली,

संग किशन के बाल सखा हैं,

संग किशन के बाल सखा हैं,

सखियन संग राधा टोली,

होली रे होली,

बरसाने की होली,

होली रे होली,

बरसाने की होली,



हाथो में लेकर रंग और गुलाल,

मोहन ने रंग डाले राधा के गाल,

हाथो में लेकर रंग और गुलाल,

मोहन ने रंग डाले राधा के गाल,

राधा की होली भी सचमुच कमाल,

श्याम रंग वाले को कर डाली लाल,

धूम धड़ाका खूब मची है ,

मस्त मगन हर टोली टोली,

बरसाने की होली,

होली रे होली,

बरसाने की होली,

लाल मेरे लाल की, मैं जित देखु उत लाल,

लाली देखन मैं चली, मैं भी हो गयी लाल,

नैनों से बाते करें नंदलाल,

मुस्का के राधा रानी करती सवाल,

नैनों से बाते करें नंदलाल,

मुस्का के राधा रानी करती सवाल,

आज नहीं मन में है कोई मलाल,

बरसा बरसाने में जैसे गुलाल,

धूम धड़ाका खूब मची है ,

मस्त मगन हर टोली टोली,

बरसाने की होली,

होली रे होली,

बरसाने की होली,

राधा कृष्ण ने मिलकर खेली,

बरसाने की होली,

राधा कृष्ण ने मिलकर खेली,

बरसाने की होली,

संग किशन के बाल सखा हैं,

संग किशन के बाल सखा हैं,

सखियन संग राधा टोली,

होली रे होली,

बरसाने की होली,

यह भी पढ़ें 

1. Best Holi Song 2024 : 17 सबसे लोकप्रिय धार्मिक होली गीतों का संग्रह

2. Best CG Holi Song: छत्तीसगढ़ के सबसे लोकप्रिय पारंपरिक होली गीतों का लिरिक्स

3. Barsane ki Holi Song बरसाने की 13 सबसे लोकप्रिय होली गीतों का लिरिक्स 


2. राधा कृष्ण के होली गीत – होली आई बड़ी सुहानी, सब ने घोर लई रोली

होली आई बड़ी सुहानी, सब ने घोर लई रोली,

प्यारे वृन्दावन की कुञ्ज गली में मच गई है होरी,

यहां वृन्दावन की होरी भी, दुनिया मे चर्चा भारी है,

बाँके बिहारी के संग खेले होली श्यामा प्यारी है,

खेले श्यामा प्यारी है… खेले श्यामा प्यारी है…



ऐसी मारी भर पिचकारी, भीगी राधे के चोली,

प्यारे वृन्दावन की कुञ्ज गली में मच गई है होरी,

होली का हल्ला सुन करके, आगई सखिया सारी है,

हाँ… आगई सखिया सारी है,

संखिया को देख के राधा ने झट पकड़े कृष्ण मुरारी है,

झट पकड़े कृष्ण मुरारी है….

पकड़ के ऐसी सकल बिगाड़ी, मुख पे रंग दी नी रो री,

प्यारे वृन्दावन की कुञ्ज गली में मच गई है होरी,

छीना झपटी में राधा ने कान्हा की मुरली छीन लई,

सखियन ने पकड़ के बैठा लियो,

फिर मार लाठ की ख़ूब देई,

सखी भाग ना जाये जेदारी को, फिर राधा यूं बोली,

प्यारे वृन्दावन की कुञ्ज गली में मच गई है होरी,

मत देख रविन्द्र ग्वालन कु संग दौड़े दौड़े आये है,

भर भर के झोली बेरोली फिर जमके रंग उड़ाए है,

ऐसी सज गई ब्रिज की नगरी, रंगों की रंगोली,

प्यारे वृन्दावन की कुञ्ज गली में मच गई है होरी,

होली आई बड़ी सुहानी, सब ने घोर लई रोली,

प्यारे वृन्दावन की कुञ्ज गली में मच गई है होरी

*****************************************

Amazon से भारी डिस्काउंट के साथ कम कीमत पर होली सामग्री खरीदने के लिए नीचे क्लिक करें…

1. आकर्षक होली पिचकारी 

2. होली का रंग 

3. होली स्पेशल आर्गेनिक कलर और इको फ्रेंडली आर्गेनिक गुलाल

4. होली स्पेशल टी शर्ट 

5. महिलाओं के लिए खास होली ड्रेस 

6. बच्चों का स्पेशल होली ड्रेस 

7. होली गिफ्ट



3. राधा कृष्ण के होली गीत – मैं तो तुम संग होली खेलूंगी मैं तो तुम संग

मैं तो तुम संग होली खेलूंगी मैं तो तुम संग,

ओ बारे रसिया हा बारे रसिया,

मैं तो तुम संग होली खेलूंगी मैं तो तुम संग॥

सास ननंद से नहीं डरूंगी,

सैया के बोल सब सह लूंगी मैं तो तुम संग,

मैं तो तुम संग होली खेलूंगी मैं तो तुम संग॥

ना चाहिए हमें महल अटारी,

टूटी झोपड़िया में रह लूंगी मैं तो तुम संग,

मैं तो तुम संग होली खेलूंगी मैं तो तुम संग॥

ना चाहिए हमें खीर रावड़ी,

खट्टी छाछ ही पी लूगी मैं तो तुम संग,

मैं तो तुम संग होली खेलूंगी मैं तो तुम संग॥

चंद्र सखी तो रमण तुम्ही संग,

दिल की बतियां कह दूंगी मैं तो तुम संग,

मैं तो तुम संग होली खेलूंगी मैं तो तुम संग॥

4. श्याम मेरी चुनर पे रंग मत डाल होली भजन लिरिक्स

श्याम मेरी चुनर पे रंग मत डाल,

विनती करूं पैया पडु तोरे बार-बार,

भर पिचकारी कान्हा सन्मुख ना मारो,

अबीर गुलाल मेरे मुख पे ना डारो,

आज आई आई करके मैं सोलह श्रृंगार,

विनती करूं पैया पडु….

बीच बजरिया ना रोको मुरारी,

जाने दो श्याम मत आवो अगाड़ी,

पकड़ो ना बहिया जी पराई हू नार,

विनती करूं पैया पडु…

संग सहेली सब हांसी करेगी,

सास ननंद की मोहे डांट पड़ेगी,

झगडेंगे सैया जी घर पे हमार,

विनती करूं पैया पडु….

मंत्री कहे विनती अब सुन लो हमारी,

भक्त दयाल रहे शरण तुम्हारी,

श्याम तेरे चरणों में जाऊं बलिहार,

विनती करूं पैया पडु …

5. होली खेल रहे नन्दलाल गोकुल की कुञ्ज गलिन में

होली खेल रहे नन्दलाल,

गोकुल की कुञ्ज गलिन में।।

मेरे घर मारी पिचकारी,

मेरी भीगी रेशम साड़ी,

मेरे घर मारी पिचकारी,

मेरी भीगी रेशम साड़ी,

अरे मेरे मुँह पे मलो गुलाल,

गोकुल की कुञ्ज गलिन में।।

लिए ग्वाल बाल सब संग में,

रंग गई बसंती रंग में,

लिए ग्वाल बाल सब संग में,

रंग गई बसंती रंग में,

अरे मेरी चली ना कोई चाल,

गोकुल की कुञ्ज गलिन में।।

मेरी रन्ग से भरी कमोरी,

कंकरिया मार के फोरी,

मेरी रन्ग से भरी कमोरी,

कंकरिया मार के फोरी,

में तो पड़ी हाल बेहाल,

गोकुल की कुञ्ज गलिन में।।

मोसे हँस के बोलो बेना,

तोहे सही बताऊ बहना,

मोसे हँस के बोलो बेना,

तोहे सही बताऊ बहना,

मैं कर दई हरी और लाल,

गोकुल की कुञ्ज गलिन में।।

होली खेल रहे नन्दलाल,

गोकुल की कुञ्ज गलिन में।।

6. होली खेलन राधा आई रे आओ श्याम बिहारी

होली खेलन राधा आई रे आओ श्याम बिहारी,

श्याम बिहारी घनश्याम बिहारी,

रुत रंगा की आई रे आओ श्याम बिहारी,

होली खेलन राधा आई रे…

घिस घिस केसर रंग बनाया,

भांत भांत का इतर मिलाया,

दिल में उमींगे छाई रे,

आओ श्याम बिहारी,

होली खेलन राधा आई रे….

ग्वाल बाल सब सखियाँ आई,

कह नवी को श्याम कन्हाई,

अपना होश समाई रे,

आओ श्याम बिहारी,

होली खेलन राधा आई रे…

आज श्याम नहीं बच पाओ गे,

छुप कर हमसे किट जाओगे,

नंदू अर्ज लगाई रे,

आओ श्याम बिहारी,

होली खेलन राधा आई रे…

7. राधा कृष्ण होली गीत – राधा साँवरे संग खेले होली लिरिक्स

होली है, होली है,

होली है।

आयो होली आयो होली रे,

गोपियाँ सब झूम रही हैं,

यमुना के तट घूम रही हैं,

नीला पीला जग हुआ है,

देख म्हारो मन हरसे,

राधा साँवरे संग खेले होली,

आज धरती पे रंग बरसे।

मारे कनक पिचकारी,

तो राधा की भीगे रे चुनरिया,

गाल पे देखो ग़ुलाल लगाए,

तो मुस्काई हैं गुज़रिया,

मुरली की तान छेड़े कान्हा,

गैया भी निकली घर से,

राधा साँवरे संग खेले होली,

आज धरती पे रंग बरसे।

गोकुल की हर गली गली में,

धूम मची है आज जी,

मस्ती में सब गोप गोपियाँ,

झूमें सकल समाज जी,

दृश्य अद्भुद प्यारा लागे,

देख देवता भी हरसे,

राधा साँवरे संग खेले होली,

आज धरती पे रंग बरसे।

8. राधे रानी मैं हटके होरी खेलूंगा डटके

रंग बिरंगे रंग लाया हूँ,

राधे रानी मैं हटके,

होरी खेलूंगा डटके,

ना होरी खेलूं सांवरिया,

क्यों तूं अपना सिर पटके,

बात करो पीछे हटके,

होली खेलूंगा डटके।।

सब रे रंग है मेरे बढ़िया,

पीलो डलवाया केसरिया,

जिस पर भी तेरा दिल अटके,

होली खेलूंगा डटके,

अरे बात करो पीछे हटके।।

कच्चे पक्के रंग है तेरे,

कपड़े हे जाएं भदरंग मेरे,

बिगड़े मोती घूंघट के,

बात करो पीछे हटके,

होली खेलूंगा डटके।।

आज नहीं छोडूंगा राधे,

करके आयो पक्के इरादे,

लायो रंग की कई मटके,

होली खेलूंगा डटके,

अरे बात करो पीछे हटके।।

बात हकीकत कहे ‘अनाड़ी’,

टूटी है तेरी पिचकारी,

आगे पीछे क्यों झटके,

बात करो पीछे हटके,

होली खेलूंगा डटके।।

रंग बिरंगे रंग लाया हूँ,

राधे रानी मैं हटके,

होरी खेलूंगा डटके,

ना होरी खेलूं सांवरिया,

क्यों तूं अपना सिर पटके,

बात करो पीछे हटके,

होली खेलूंगा डटके।।

9. मैं कैसे होली खेलूँगी या सांवरिया के संग भजन लिरिक्स

मैं कैसे होली खेलूंगी,

या सांवरिया के संग,

रंग मैं कैसे होली खेलूँगी,

या सांवरिया के संग,

मैं कैसे होली खेलूंगी,

या सांवरिया के संग।

कोरे कोरे कलश मंगाए,

केसर घोरो रंग,

लाला, केसर घोरो रंग,

भर पिचकारी मेरे सन्मुख मारी,

चोली हे गई तंग,

रंग मैं कैसे होली खेलूँगी,

या सांवरिया के संग,

मैं कैसे होली खेलूंगी,

या सांवरिया के संग।

साड़ी सरस सभी मेरो भिजो,

भीज गयो सब अंग,

लाला, भीज गयो सब अंग,

या बजमारो को कहाँ भिगोऊँ,

कारी कमर अंग

रंग मैं कैसे होली खेलूँगी,

या सांवरिया के संग,

मैं कैसे होली खेलूंगी,

या सांवरिया के संग।

तबला बाजे सारंगी बाजे,

और बाजे मृदंग,

और बाजै मृदंग,

और श्याम सुंदर की बंशी बाजै,

राधा जू के संग,

रंग मैं कैसे होली खेलूंगी,

या सांवरिया के संग,

मैं कैसे होली खेलूंगी,

या सांवरिया के संग।

घर घर से बृज बनिता आई,

लिए किशोरी संग,

लाला लिए किशोरी संग,

चन्द्रसखी हँसयो उठ बोली,

लगा श्याम के अंग,

रंग मैं कैसे होली खेलूंगी,

या सांवरिया के संग,

मैं कैसे होली खेलूंगी,

या सांवरिया के संग।

मैं कैसे होली खेलूंगी,

या सांवरिया के संग,

रंग मैं कैसे होली खेलूँगी,

या सांवरिया के संग,

मैं कैसे होली खेलूंगी,

या सांवरिया के संग।

10. बरसाने में आज धूम मची होली की

बरसाने में आज धूम मची होली की,

धूम मची होली की, धूम मची होली की,

बरसानें में आज धूम मची होली की।।

रंग रंगीलो फागुण आयो,

ब्रज वासी को मन हर्षायो,

रंग रंगीलो फागुण आयो,

ब्रज वासी को मन हर्षायो,

नाचे दे दे ताल,

धूम मची होली की,

बरसानें में आज धूम मची होली की।।

नन्द गाँव से ग्वाला आये,

सुन्दर ढाल संग में लाये,

नन्द गाँव से ग्वाला आये

सुन्दर ढाल संग में लाये,

उड़त अबीर गुलाल,

धूम मची होली की,

बरसानें में आज धूम मची होली की।।

इत है नन्द गाँव के रसिया,

उत है बरसाने की सखियाँ,

इत है नन्द गाँव के रसिया,

उत है बरसाने की सखियाँ,

कर सोलह श्रृंगार,

धूम मची होली की,

बरसानें में आज धूम मची होली की।।

गली रंगीली शोभा न्यारी,

ग्वालन पड़ रही लठियाँ भारी,

गली रंगीली शोभा न्यारी,

ग्वालन पड़ रही लठियाँ भारी,

हो रही जय जयकार,

धूम मची होली की,

बरसानें में आज धूम मची होली की।।

या बृज की होली को देखन,

चढ़ आये सुर देव विमानन,

या बृज की होली को देखन,

चढ़ आये सुर देव विमानन,

करे फूलन की बौछार,

धूम मची होली की,

बरसानें में आज धूम मची होली की।।

बरसाने में आज धूम मची होली की,

धूम मची होली की, धूम मची होली की,

बरसानें में आज धूम मची होली की।।

11. होली खेले नंदलाल तो बरसाने आजाइयो

राधा रानी रंग लगवाने अजाइयो

होली खेले नंदलाल तो बरसाने आजाइयो

तेरे अंग अंग राधा रंग मैं लगाऊं रे

कान्हा गोकुल में अकेली कैसे आऊं रे

सखियों से मिलने के बहाने आजाइयो

तुमको दिखाऊं राधा अलग नजारे मैं

सोचना पड़ेगा कान्हा मुझे इस बारे में

प्यारी प्यारी सूरत को दिखाने आजाइयो

मेरे लिए राधा तुम्हे आना ही पड़ेगा

कान्हा कोई चक्कर चलाना ही पड़ेगा

होली में गुलाल तू उड़ाने आजाइयो

12. होली खेले गोकुल में कन्हीया

होली खेले गोकुल में कन्हीया

होली खेले रे कन्हीया,

हिल मिल गाये गोपी गोपाला

रंग लगा के हुआ मतवाला

होली खेले गोकुल में कन्हीया होली खेले रे कन्हीया…

राधा संग रास रचाए बड़ा रंगीला कन्हिया,

रंग लगाये गुलाल उडाये सब गोपियाँ को पास बुलाये,

राधा संग रास रचाए बड़ा रंगीला कन्हिया,

होली खेले गोकुल में कन्हीया होली खेले रे कन्हीया…

कान्हा मेरा रंगीला सुनो गोकुल के गोपाला

बरस बरस के होली आवे सब के मन को कान्हा रिजावे

रंगों में डूबा कन्हिया सब पर रंग डाले कन्हिया

हिल मिल गए गोपी गोपाला रंग लगा के हुआ मत वाला

होली खेले गोकुल में कन्हीया होली खेले रे कन्हीया…

13. होली खेलोंगो मैं राधा तेरे संग

होली खेलोंगो मैं राधा तेरे संग

महीना आया फागुन का …

एक साल में आती है फागुन की रुत मस्तानी

हस के होली खेल मेरे संग आजा राधा रानी

मारू पिचकारी …….हो …

मारू पिचकारी कर दांग और तोको तंग

महीना आया फागुन का …

होली खेलोंगो मैं राधा तेरे संग

महीना आया फागुन का …

बच के न जावेगी राधा

मैं तोको समझौ

जीवन भर न छूटे

टोपे ऐसो रंग लागू

होली खेलन की ..हो …

होली खेलन की मेरे संग में उमंग

महीना आया फागुन का …

होली खेलोंगो मैं राधा तेरे संग

महीना आया फागुन का …

कब से लग रही आशा राधे

होली खेलु तोसे

धीरे धीरे रंग डारुंगो

मत घबरावे मोसे ….

तेरे नाज़ुक है …

तेरे नाज़ुक और कोमल है सारे अंग

महीना आया फागुन का …

होली खेलोंगो मैं राधा तेरे संग

महीना आया फागुन का ..

होली पर्व प्यार का राधे

रंग गुलाल उद्धव

आयी ऋतू बसंत राधिके

प्रेम से फ़ाग मानावे ..

देखे हर इन्दर हो …

देखे हर इन्दर अकेला न्यारे ढंग

महीना आया फागुन का …

होली खेलोंगो मैं राधा तेरे संग

महीना आया फागुन का …

मैं तो जी भर के डारुंगो तोपे रंग

महीना आया फागुन का …

होली खेलोंगो मैं राधा तेरे संग

महीना आया फागुन का …

14. प्रभु मैं खेलु गी होली तेरे संग फूलो की होली लिरिक्स

राधा को रंगने को कान्हा आये गा,

मीरा को रंगने भी कान्हा जायेगा,

सखियों के संग खेलेगे कान्हा जी,

प्रेम की होली खेलेंगे प्रेम की होली,

प्रभु मैं खेलु गी होली तेरे संग फूलो की होली

राधा को रंगने को कान्हा खड़े है,

जोरा जोरी कर के पीछे पड़े है,

जाये न भाग राधा पकड़े पड़े है,

नैनो की भाषा से नैना लड़े है,

कान्हा ने रंग दी है चोली,

ब्रिज में फूलो की होली खिले गे प्रेम की होली…

मीरा के मन में तो कान्हा लगन है,

कान्हा के रंग में तो मीरा मगन है,

ऐसी चली प्रीत की जो पवन है,

कान्हा के रंगो में झूमा गगन है मीरा तो कान्हा को बोली,

प्रभु मैं खेलु गी होली तेरे संग फूलो की होली…

15. आया फागुन आ गई होली राधा खेलो मेरे संग होली 

आया फागुन आ गई होली

राधा खेलो मेरे संग होली

होली खेलो ना राधा खेलो ना

शाम छेडो ना मोहे छेडो ना

हम तो होली मे बरसाने जायेगे

होली साॅवरे केसाथ ही मनायेगे

वो तो डारेगे जोरा जोरी राधा खेलो मेरे संग होली

हम तो होली मे कुज गली जायेगे

वहा सखियो के रंग लगायेगे

हम तो डारेगे भर पिचकारी राधा

खेलो मेरे संग होली

हम तो होली मे बरसाने जायेगे

पीछे पीछे कन्हैया दौडे आयेगे

वो तो डारेगे जोराजोरी राधा खेलो मेरे संग होली

शाम गावो मै रंग लगायेगे

गोरे गालो मे रंग लगायेगे

वो तो खेलेगे भर भर बोली राधा खेलो मेरे संग होली

आया फागुन,

दोस्तों आज के लेख में हमने श्री राधा कृष्ण के होली गीत का लिरिक्स जाना। आज के लेख के संबंध में आप अपनी राय या सुझाव आप हमें कमेंट बॉक्स में बता सकते हैं। हमारे सभी आर्टिकल का लिस्ट देखने के लिए यहां क्लिक करें ।

Similar Posts

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *